कोरोना कल का पहला बजट(Budget Session 2021) केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण(Nirmala Sitharaman) की तरफ से आज पेश किया जा रहा है। पहली बार ऐसा हो रहा है कि कागज पर इसे प्रिंट नहीं किया गया है और पूरी तरीके से यह एक पेपरलेस बजट होने वाला है। सबसे अहम बात है कि किसान आंदोलन(Farmers Protest) के बीच यह बजट पेश होने जा रहा है। बजट सत्र इस बार 15 फरवरी को नहीं, बल्कि 13 फरवरी को समाप्त हो जाएगा। राज्यसभा की भी एक बैठक में इसे 13 फरवरी को ही समाप्त करने का फैसला ले दिया गया है।
मोदी सरकार के कार्यकाल में यह नौवां बजट पेश होने वाला है। चूंकि यह बजट कोविड-19 महामारी के दौरान पेश हो रहा है, तो ऐसे में उम्मीद लगाई जा रही है कि इस बजट में स्वास्थ्य क्षेत्र को लेकर विशेष घोषणाएं हो सकती हैं और करदाताओं के हाथ में वित्त मंत्री की काफी कुछ देने की कोशिश होगी। यही नहीं, विदेशी निवेश को आकर्षित करने के भी प्रयास बढ़ाने की उम्मीद है।
चमड़े के पारंपरिक ब्रीफकेस में पहले बजट पेश किया जाता था, लेकिन वर्ष 2019 में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण(Nirmala Sitharaman) ने इसकी जगह लाल कपड़े में लिपटे बही-खाते के रूप में बजट को पेश किया था। इस बात की उम्मीद है कि कोरोना की वजह से अर्थव्यवस्था को हुए नुकसान की भरपाई बजट के जरिए की जाएगी। साथ ही अर्थशास्त्रियों का कहना है कि इस बार बजट कुछ हटकर होना चाहिए।
विशेषज्ञों का कहना है कि इस बजट(Budget Session 2021) को ऐसा होना चाहिए कि महामारी से बुरी तरह से प्रभावित अर्थव्यवस्था को यह एक बार फिर से पटरी पर लेकर आए।
अर्थशास्त्रियों के मुताबिक वर्ष 2020-21 में अर्थव्यवस्था में सात से आठ फ़ीसदी की गिरावट आ सकती है। यदि ऐसा होता है तो विकासशील देशों में भारत का प्रदर्शन सबसे निचले स्तर का होगा। कोविड-19 महामारी के दौर से टीकाकरण के जरिए बाहर निकलने की उम्मीद दिख रही है। ऐसे में बजट ऐसा होना चाहिए जो कि अर्थव्यवस्था को भविष्य की राह दिखाए।
किसान आंदोलन(Farmers Protest) के बीच इस बजट को पेश किए जाने की वजह से इस बात की पूरी संभावना है कि बजट में किसानों को लेकर कुछ ऐसी घोषणाएं की जाएं, जिनके जरिए किसानों को सरकार अपने पाले में कर सके। इस बात की उम्मीद जताई जा रही है कि निर्मला सीतारमण पीएम किसान सम्मान निधि योजना(PM Kisan Samman Nidhi Scheme) को 6000 रुपये से बढ़ा सकती हैं।
आम आदमी यह उम्मीद कर रहा है कि टैक्स में उसे राहत मिले। पिछले बजट में टैक्स को लेकर वित्त मंत्री की तरफ से सात स्लैब बना दिए गए थे। साथ ही अलग-अलग तरह की 70 छूट को इसमें शामिल नहीं किया गया था। पुराने टैक्स स्लैब के मुताबिक ढाई लाख रुपए तक कोई आयकर नहीं देना पड़ता है। इस बार वित्त मंत्री से टैक्सपेयर्स को बड़ी उम्मीदें हैं।
सर्वदलीय बैठक में राज्यसभा के सभापति वेंकैया नायडू(M. Venkaiah Naidu) की तरफ से सभी दलों से सदन की चर्चा में पूरी तरीके से भाग लेने और इसे बाधित न करने की अपील की गई थी। सूत्र बता रहे हैं कि सभी दलों ने इसके लिए आश्वासन दिया है कि सदन की कार्यवाही में वे पूरी तरीके से हिस्सा लेंगे।
संभव है कि सरकार बजट में विनिवेश की प्रक्रिया को जारी रखे। चालू वित्त वर्ष में 2.10 लाख करोड़ रुपये जुटाने का सरकार का लक्ष्य है।
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बजट सत्र(Budget Session 2021) के दूसरे चरण के लिए 8 मार्च को सदन मिलेगा। इसके अलावा राज्यसभा ने धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के लिए 10 घंटे का समय निर्धारित कर दिया है। प्रधानमंत्री इस दौरान सवालों का जवाब देंगे।
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