Yellow Fungus Symptoms In Hindi: देश में अब तक काले और सफेद फंगस के मामले सामने आते रहे हैं और इनकी संख्या में भी इजाफा हो रहा है, लेकिन अब एनसीआर में पहली बार पीले फंगस के भी एक मामले को गाजियाबाद में देखा गया है। बताया जा रहा है कि सफेद और काले फंगस से भी पीला फंगस ज्यादा खतरनाक है। फिलहाल ईएनटी सर्जन डॉ बृजपाल त्यागी के अस्पताल में इस मरीज का इलाज चल रहा है।
पीला फंगस के लक्षणों की बात करें तो इसमें सुस्ती आ जाती है। वजन कम हो जाता है। भूख कम लगती है या बिल्कुल भी नहीं लगती है। साथ ही अधिक गंभीर लक्षण यह है कि मवाद का रिसाव होने लगता है। ऐसा कहा जा रहा है कि घाव के भरने की प्रक्रिया को भी यह बाधित कर देता है या इसे धीमा कर देता है। इसकी वजह से आंखें धंस भी जाती हैं। अंग भी इसकी वजह से काम करना बंद कर सकते हैं। साथ ही ये गलने लगते हैं। यह एक घातक बीमारी है, जो अंदरूनी रूप से शुरू होती है। ऐसे में इसके लक्षण दिखते ही इलाज शुरू करवा देना चाहिए।
ज्यादातर गंदगी की वजह से पीले फंगस का संक्रमण होता है। स्वच्छ भोजन करके और गंदगी को दूर रखकर इसे फैलने से रोका जा सकता है। अत्यधिक आद्रता से भी संक्रमण हो सकता है, क्योंकि यह बैक्टीरिया और फंगस के प्रसार को बढ़ावा देता है।
एम्फोटेरिसिन बी नामक एक इंजेक्शन से पीले फंगस का उपचार होता है, जो कि एक एंटी-फंगल दवा है।
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