पॉजिटिव स्टोरी

शानदार सरकारी नौकरी को मारी लात, गांवों में आज काम कर रही ये आईआईटियन

आईआईटी में पढ़ना हर किसी का सपना होता है। जो लोग आईआईटी में पढ़ लेते हैं, उन्हें करोड़ों के पैकेज की नौकरी मिलती है। बहुत से आईआईटियन पढ़ाई करने के बाद नौकरी करने के लिए विदेश चले जाते हैं। देश के अंदर भी जो आईआईटियन नौकरी करते हैं, उनके तो अलग ही ठाठ-बाट होते हैं। फिर भी एक आईआईटियन ऐसी हैं, जिन्होंने अपनी शानदार नौकरी को लात मार दी। इनका नाम है पूजा भारती। इतनी अच्छी नौकरी छोड़ कर पूजा भारती ने गांव में खेती-किसानी करने का मन बना लिया। आज भी यही कर रही हैं और उनकी कोशिशों ने एक बहुत बड़ा बदलाव लाने का काम किया है। यहां हम आपको इन्हीं पूजा भारती की कहानी बता रहे हैं।

इसलिए शुरू की आईआईटी की तैयारी

पूजा भारती बिहार के नालंदा के एक छोटे से गांव कंचनपुर की रहने वाली हैं। यहीं उनकी परवरिश हुई। शुरुआती पढ़ाई भी यहां के ही सरकारी स्कूल में हुई। पूजा के मुताबिक टीचर यहां बहुत कम थे। अंग्रेजी के टीचर तो थे ही नहीं। एक ही कमरे में बैठकर सभी क्लास के बच्चे पढ़ाई करते थे। स्कूल में अधिकतर वक्त हिंदी, गणित और विज्ञान पढ़ने में ही बीता। अंग्रेजी ना पढ़ पाने का मलाल उन्हें जरूर रहता था। पूजा के अनुसार दसवीं के बाद एक अच्छे स्कूल में उनके पिता ने उनका एडमिशन करवा दिया। गांव से करीब 8 किलोमीटर की दूरी पर यह स्कूल था। वैसे जिस मोहल्ले में वे रह रहे थे, वहां अधिकतर लोग बेटियों को बंद करके रखते थे। उन्हें पढ़ने की अनुमति नहीं थी। पूजा के मुताबिक उनके घर में तो ऐसी बंदिशें नहीं थीं, लेकिन जो पढ़ाई उनकी दीदी ने की, उसका कोई फायदा नहीं हुआ। ग्रेजुएशन के बाद उनकी शादी कर दी गई। ऐसे में उन्हें भी यह डर सताता था कि पढ़ाई पूरी होने के बाद उनकी शादी भी कर दी जाएगी। इसी वजह से वे आईआईटी की ओर मुड़ीं और इसकी तैयारी उन्होंने शुरू कर दी।

आलीशान जिंदगी रास न आई

दो साल की कठिन तैयारी के बाद पूजा भारती को आईआईटी खड़गपुर में दाखिला मिल गया। यहां बड़ा ही आलीशान कैंपस था। बहुत सारी किताबे थीं। हर तरह की सुविधाएं भी थीं, पर दिक्कत पूजा के साथ यह थी कि सारे लेक्चर अंग्रेजी में होते थे। गणित में तो पूजा बहुत अच्छी थी, लेकिन एक भी लेक्चर उन्हें समझ नहीं आता था। धीरे-धीरे हालांकि उन्हें अंग्रेजी समझ आने लगी। दूसरे सेमेस्टर तक सब सामान्य होने लगा। क्लास में भी सवाल-जवाब उन्होंने करना शुरू कर दिया। गांव में लंगडी दौड़ जैसे घरेलू खेल ही उन्होंने खेले थे, लेकिन यहां बास्केटबॉल में अपने कॉलेज का प्रतिनिधित्व करना भी शुरू कर दिया। इंटर्नशिप के लिए उन्हें कॉलेज की ओर से अमेरिका की वर्जीनिया कॉमनवेल्थ यूनिवर्सिटी में भी भेजा गया। पीएचडी करने का यहां बड़ा अवसर उनके पास मौजूद था, मगर अपने देश लौटकर नौकरी करने का उन्होंने फैसला किया। गेल में उन्हें नौकरी मिल गई। बढ़िया पैकेज भी मिला। शानदार तरीके से जिंदगी आगे बढ़ती रही। पूजा के अनुसार गांव का उनका कनेक्शन लगातार उन्हें अंदर से झकझोर रहा था।

फिर दे ही दिया इस्तीफा

फिर क्या था, धीरे-धीरे गांव का रुख करना पूजा ने शुरू कर दिया। सभी बहनों की धीरे-धीरे शादी हो गई। खेत बिकने लगे। मां-बाप की सेहत भी गिरने लगी। छोटी-छोटी छुट्टियां लेकर रिसर्च के बहाने पूजा ने गांव आना शुरू कर दिया। वह खूब पढ़ती थीं। खूब घूमती थीं। गांवों को देखती थीं। खेती-बाड़ी को समझती थीं। धीरे-धीरे उन्होंने खेती से जुड़े सारे काम सीख लिए। पौधा रोपना सीख लिया। सिंचाई करना सीखा। गुड़ाई करना सीखा। खेती के सारे हुनर उन्होंने सीख लिए। इसके बाद उन्होंने लौटकर इस्तीफा दे दिया।

जो ठाना, करके दिखाया

इस्तीफे की बात सुनकर घर में सभी आगबबूला हो गए। सब ने बोला पछताना पड़ेगा, लेकिन पूजा ने ठान लिया कि अब वे वही करेंगी, जो उनका दिल कह रहा है। उड़ीसा के एक गांव को उन्होंने चुना। वहां खेती-बाड़ी पर काम करना शुरू कर दिया। उड़ीसा के मयूरभंज में ‘बैक टू विलेज’ नाम से अपने एक बिजनेस पार्टनर की मदद से उन्होंने प्रोजेक्ट शुरू किया। उन्होंने कामचलाऊ उड़िया बोलना सीख लिया। लोगों को जैविक खेती के बारे में सिखाना शुरू कर दिया। किसान भी उनकी बातों को गंभीरता से लेने लगे। करीब पांच वर्षों से पूजा यह काम कर रही हैं। कहती हैं कि सरकारी नौकरी छोड़ने के बाद शुरुआत में घरवालों की नाराजगी से थोड़ा डर तो लगा, लेकिन जिस मिट्टी में वे काम कर रही हैं, उसने सभी दर्द को सोख लिया है।

Facebook Comments
Shikha Yadav

Share
Published by
Shikha Yadav

Recent Posts

हिमाचल प्रदेश की वो झील जहां अंधेरे में आती हैं परियां, जानें क्या है इस फेमस लेक का राज़

Facts About Chandratal Lake In Hindi: भारत में हज़ारों की संख्या में घूमने की जगहें…

1 week ago

घर में ही शुगर लेवल को ऐसे करें मैनेज, डॉक्टर के चक्कर काटने की नहीं पड़ेगी ज़रूरत

Blood Sugar Control Kaise Kare: आज की भागदौड़ भरी ज़िंदगी में कई बीमारियों को समाज…

1 week ago

इन बीमारियों का रामबाण इलाज है गोंद कतीरा, जानें इस्तेमाल करने का सही तरीका

Gond Katira Khane Ke Fayde: आयुर्वेद विज्ञान से भी हज़ारों साल पुराना है। प्राचीन ग्रंथों…

2 weeks ago

दिलजीत दोसांझ को फैन के साथ किया गया फ्रॉड, सिंगर के इस कदम ने जीता सबका दिल

Diljit Dosanjh Concert Scam: भारतीय गायक दिलजीत दोसांझ किसी परिचय के मोहताज नहीं है। वे…

3 weeks ago

आखिर क्या है वायु कोण दोष? जानिए ये कैसे होता है और इसके प्रभाव क्या हैं?

Vayu Kon Dosha Kya Hota Hai: पौराणिक मान्यताओं व ज्योतिष शास्त्र के अनुसार ऐसा माना…

4 weeks ago