पॉजिटिव स्टोरी

कोरोना लॉकडाउन का बड़ा लाभ, पहले से अब कम कांप रही धरती हमारी

Lockdown Coronavirus: कोरोना वायरस के बढ़ते हुए संक्रमण को रोकने के लिए जब दुनियाभर में इस समय लॉकडाउन लगा हुआ है तो ऐसे में इसका सकारात्मक असर हमारी धरती पर भी दिखने लगा है। ध्वनि प्रदूषण कम होने की वजह से अब छोटे-छोटे भूकंप को भी वैज्ञानिकों द्वारा पकड़ लेना आसान हो गया है। पहले यह संभव नहीं हो पा रहा था। लॉकडाउन जब नहीं रहता है तो ऐसे में कभी गाड़ी की आवाज, तो कभी तोड़फोड़ की आवाज, तो कभी फैक्ट्री की आवाज लगातार होती रहती है। ऐसे में धरती का कंपन भी बढ़ता रहता है।

इन्होंने लगाया पता

दुनिया के कई भूगर्भ वैज्ञानिकों के साथ मिलकर ब्रिटिश जियोलॉजिकल सर्वे की ओर से यह पता लगाया गया है कि लॉकडाउन के दौरान इस वक्त पूरी दुनिया में ध्वनि प्रदूषण काफी हद तक कम हो गया है। इस बारे में एक रिपोर्ट डेली मेल में प्रकाशित हुई है। बेल्जियम, लॉस एंजिल्स, लंदन, न्यूजीलैंड और पेरिस में भूकंप यंत्रों के मदद से वैज्ञानिकों ने यह पता लगाया है। वैज्ञानिकों ने हर जगह पर रीडिंग करके यह पाया है कि लॉकडाउन के दौरान धरती का कंपन पहले से बहुत हद तक कम हो गया है।

यह भी पढ़े क्या सच में आगे बढ़ने वाला है 21 दिनों का लॉकडाउन, जानें क्या है सच !

Lockdown Coronavirus दर्शाता है अंतर

British Geological Survey

धरती पर इंसानों के चलने से, यातायात जारी रहने से, जहाजों के उड़ने से, नाव के चलने से अलग-अलग माध्यमों से ध्वनि प्रदूषण होता है, जिसकी वजह से धरती ख़ूब कांपती रहती है, लेकिन लॉकडाउन के दौरान ये सारी चीजें बंद हो गई हैं। ऐसे में इस शांति काल में धरती भी अब पहले की तुलना में कम कांप रही है। बेल्जियम के रॉयल ऑब्जर्वेटरी के भूगर्भ विज्ञानी थॉमस लेकॉक की ओर से एक ऐसे यंत्र को विकसित किया गया है, जो धरती के कंपन और उसकी आवाज में होने वाले फर्क को आसानी से पकड़कर दर्शा देता है।

दिन में भी घटा कंपन

RapidLeaks

भूगर्भ विज्ञानी स्टीफन हिक्स के हवाले से इस रिपोर्ट में बताया गया है कि आम दिनों में दिन के वक्त कंपकपी धरती की ज्यादा होती थी, जबकि रात के वक्त यह कम हो जाती थी, मगर लॉकडाउन के दौरान इस वक्त रात से भी कम कंपकंपी धरती की दिन के वक्त भूकंप के यंत्र पकड़ रहे हैं। थॉमस लेकॉक की मदद से अब पूरी दुनिया में यह पता लगाने की कोशिश चल रही है कि क्या सभी जगहों पर ऐसा ही हो रहा है।

Facebook Comments
Shikha Yadav

Share
Published by
Shikha Yadav

Recent Posts

हिसार की छात्रा के बायोइन्फॉर्मेटिक्स शोध से दर्दनाक मस्तिष्क की चोट का अल्जाइमर से संबंध उजागर हुआ

हिसार, हरियाणा – हरियाणा के हिसार जिले के भाटोल जाटान गांव की कीर्ति बामल, जो…

1 month ago

मध्य प्रदेश टूरिज़्म 2025: एक प्रगति की कहानी — ‘Heart of Incredible India’

मध्य प्रदेश, जिसे हम गर्व से Heart of Incredible India कहते हैं, अब सिर्फ घूमने…

2 months ago

IRCTC अकाउंट को आधार से ऐसे करें लिंक, वरना तत्काल टिकट बुकिंग पर लग सकता है ताला!

अगर आप भारतीय रेलवे की ऑनलाइन टिकट बुकिंग सेवा IRCTC का इस्तेमाल करते हैं, तो…

2 months ago

हिमाचल प्रदेश की वो झील जहां अंधेरे में आती हैं परियां, जानें क्या है इस फेमस लेक का राज़

Facts About Chandratal Lake In Hindi: भारत में हज़ारों की संख्या में घूमने की जगहें…

9 months ago

घर में ही शुगर लेवल को ऐसे करें मैनेज, डॉक्टर के चक्कर काटने की नहीं पड़ेगी ज़रूरत

Blood Sugar Control Kaise Kare: आज की भागदौड़ भरी ज़िंदगी में कई बीमारियों को समाज…

9 months ago

इन बीमारियों का रामबाण इलाज है गोंद कतीरा, जानें इस्तेमाल करने का सही तरीका

Gond Katira Khane Ke Fayde: आयुर्वेद विज्ञान से भी हज़ारों साल पुराना है। प्राचीन ग्रंथों…

10 months ago