Famous Shakti Peeth in Haryana: इस समय पूरे देश भर मे चैत्र नवरात्रि के त्यौहार को धूमधाम के साथ मनाया जा रहा है और माता रानी के भक्त माता के दर्शन के लिए वैष्णो देवी का रुख किए हैं। लेकिन कुछ भक्त ऐसे भी हैं जो आर्थिक और निजी समस्याओं की वजह से माता रानी के दर्शन के लिए वैष्णो देवी नहीं जा पा रहे हैं लेकिन अगर वो चाहें तो वो अपने निवास के नजदीक माता के किसी शक्तिपीठ का दर्शन जरूर कर सकते हैं।
पौराणिक कथाओं के अनुसार, माता के 51 शक्ति पीठ हैं और सभी शक्तिपीठ माता रानी के अलग-अलग अंगों की वजह से बने हैं। आज के इस लेख में हम आपको माता रानी के उन्हीं 51 शक्तिपीठों में से एक हरियाणा के कुरुक्षेत्र में स्थित माँ भद्रकाली पीठ के बारे में विस्तार से बताएंगे।
धर्मनगरी में कुरुक्षेत्र में स्थित है माँ भद्रकाली पीठ (Famous Shakti Peeth in Haryana)
आदिशक्ति माँ दुर्गा के 51 शक्तिपीठों में से एक माँ भद्रकाली पीठ हरियाणा के कुरुक्षेत्र में स्थित है और यह हरियाणा का इकलौता शक्तिपीठ है। ऐसी पौराणिक मान्यता है कि, इस स्थान पर माँ दुर्गा के दाएं पैर का टखना भगवान विष्णु के सुदर्शन चक्र से कटकर गिरा था और इसी वजह से इस मंदिर को माता के आशीर्वाद के लिए भी जाना जाता है।
महाभारत काल से जुड़ा है नाता
पौराणिक कथाओं में इस बात का जिक्र मिलता है कि, कुरुक्षेत्र स्थित माँ भद्रकाली पीठ में ही भगवान श्री कृष्ण और शेषावतार श्री बलराम का मुंडन किया गया था। इसके साथ ही यह भी कहा जाता है कि, पांडव महाभारत के युद्ध के पहले इस स्थान पर माँ से आशीर्वाद लेने के लिए आए थे और जब उन्हें युद्ध में सफलता मिली तो फिर उसके बाद भी वो यहाँ पर दर्शन के लिए आए और उन्होंने घोड़ों का दान दिया। इस घटनाक्रम के बाद से ही यहाँ पर घोड़ों का दान किया जाता है।
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माँ काली को समर्पित है माँ भद्रकाली पीठ
मंदिर के पीठाधीश श्री सतपाल शर्मा के अनुसार, माँ भद्रकाली पीठ माँ आदिशक्ति की स्वरूप माँ काली को समर्पित है। माँ भद्रकाली पीठ को माँ सावित्री पीठ के नाम से भी जाना जाता है और इस मंदिर में प्रवेश करते ही माँ काली की अलौकिक प्रतिमा दिखाई देती है और फिर एक खूबसूरत कमल का फूल दिखाई देता है और इस फूल के ऊपर सफेद संगमरमर से बना हुआ टखना स्थापित किया हुआ है। हर साल लाखों श्रद्धालु माँ आदिशक्ति के इस शक्तिपीठ पर दर्शन के लिए आते हैं और अपनी मुरादें पूरी होने का आशीर्वाद मांगते हैं।