हिमाचल प्रदेश(Himachal Pradesh) में पहले एंट्री लेने के लिए लगी बंदिशों और ई-पास के नियम को सरकार ने समाप्त कर दिया है। राज्य में यात्रा करने के लिए लोगों या टूरिस्ट को ई-पास(e-Pass) बनवाने और चेंकिंग के दौरान इसे दिखाने के बाद ही राज्य में प्रवेश करने की अनुमति मिलती थी। लेकिन बुधवार से इस नियम को पूरी तरह से खत्म कर दिया गया है।
मंत्रिमंडल बैठक में लिया गया फैसला
मंगलवार को मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर(Jai Ram Thakur) की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में यह फैसला लिया गया है। इससे पहले मंत्रिमंडल ने कोरोना वायरस(Coronavirus) के बढ़ते संक्रमण के चलते 15 सितंबर तक रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया जारी रखने का फैसला किया था। लेकिन अब किसी भी व्यक्ति और टूरिस्ट को राज्य(Himachal Pradesh) में प्रवेश करने के लिए ई-पास बनवाने या दिखाने की आवश्यकता नहीं होगी।
10 सितंबर से खोले गए मंदिर
बता दें कि कोरोना वायरस(Coronavirus) के बढ़ते मामलों के कारण (Himachal Pradesh) प्रदेश में 6 महीनों तक के लिए मंदिरों और तीर्थस्थानों को बंद रखा गया था। लेकिन 10 सितंबर से इन्हें भी खोल दिया गया है जिसके कारण श्रृद्धालुओं के आगमन शुरु हो गया है।
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बिलासपुर जिले में नैना देवी का लोकप्रिय मंदिर, ऊना जिले में चिंतपूर्णी, हमीरपुर जिले में बाबा बालक नाथ, कांगड़ा जिले में ब्रजेश्वरी देवी, ज्वालाजी और चामुंडा देवी और शिमला जिले में भीमाकली और हटकेश्वरी में भक्तों ने आना शुरु कर दिया है। हालांकि मंदिरों और ट्रस्ट को कोरोना संबंधित गाइडलाइन्स का पालन करना होता है।