Dietitian Kaise Bane: आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में लोग अपने करियर को बेहतर बनाने की दौड़ में शामिल हैं। किस तरह से इस रेस में आगे निकलकर अपने परिवार को एक अच्छा जीवन यापन करा सकें या फिर खुद भी एक अच्छा जीवन यापन करने के लिए लोगों के दिमाग में सिर्फ काम ही काम होता है। बता दें कि इन सबके चलते और अच्छे और सेक्योर भविष्य बनाने के चलते लोग जिस चीज को बिल्कुल नजर अंदाज करते हैं वो है उनकी सेहत।
जी हां, भागदौड़ भरा जीवन जिसमें ना तो खाने का समय निश्चित होता है ना सोने का। आज के दौर में ज्यादातर लोगों की लाइफस्टाइल ऐसी है जिस वजह से लोग मोटापे का शिकार हो रहे हैं। बता दें कि सिर्फ मोटापा ही नहीं बल्कि इसके अलावा लोग अन्य भी कई गंभीर बीमारियों का शिकार हो रहे हैं। कम उम्र में लोग ऐसी बीमारियों के शिकार हो रहे हैं जिसके बारे में आप अंदाजा भी नहीं लगा सकते।
भागादौड़ी भरी जिंदगी में लोगों के पास समय नहीं होता अपनी ही सेहत का ध्यान रखने का, जिस वजह से लोग इन बीमारियों का शिकार होते हैं। लेकिन अब महिला-पुरुष, दोनों ही अपने हेल्थ के प्रति कॉन्शस हैं। दरअसल, हेल्थ को लेकर के लोगों में तेजी से बढ़ती जागरूकता की वजह से डायटीशियन की चांदी ही चांदी है। बता दें कि अब लोगों ने डायटीशियन का सहारा लेना शुरू कर दिया है, जो लोगों को उनकी सेहत को देखते हुए और स्वस्थ रहने के लिए क्या, कैसे और कब खाना है इन सब की जानकारी देता है। ऐसे में आप भी अगर अपने करियर को चुनने में कंफ्यूज हैं तो आप खुद को बतौर डायटीशियन के तौर पर देख सकते हैं, साथ ही लोगों को फिटनेस और खान-पान के बारे में भी आगाह कर सकते हैं।
न्यूट्रीशियन के लिए योग्यता
अगर आप भी बतौर डायटीशियन अपना करियर चुनते हैं तो इसके लिए 12वीं कक्षा के बाद दो साल का न्यूट्रिशियन कोर्स कर सकती हैं। इसी के साथ आपके पास 12वीं क्लास में होमसाइंस या फिर साइंस में से कोई सब्जेक्ट होना चाहिए। इसी के अलावा आप बीएससी (होम साइंस), एमएससी (फूड एंड न्यूट्रीशियन) एवं डाइटेटिक्स में भी डिग्रियां ले सकती हैं।
क्या करते हैं डायटीशियन
लोगों के पास भागादौड़ी भरी जीवनशैली में खुद पर ध्यान देने का समय नहीं होता है, जिसके चलते उनको नहीं पता लगता है कि वो क्या और कैसे खाएं जिससे वह सेहतमंद रहें। डायटीशियन का काम होता है लोगों को उनकी दिनचर्या और उनकी जरूरतों को ध्यान में रखते हुए लोगों को उनकी सेहत के अनुसार खाने-पीने का ब्यौरा देना। उनको कब, क्या, कितना और कैसे खाना है इस बारे में जानकारी देना डायटीशियन का काम होता है। डायटीशियन आपकी उम्र, बीमारी को ध्यान में रखते हुए इस बात को सुनिश्चित करते हैं कि किस तरह का आहार आपकी सेहत के लिए फायदेमंद है।
इसी के साथ यदि कोई मरीज है तो उसकी बीमारी के अनुसार उसको खाने में क्या और कितना खाना है साथ ही किन चीजों का परहेज करना है इन बातों को बताने का कार्य भी डायटीशियन का होता है। इसके अलावा गर्भवती महिला, एथलीट और मोटापे से ग्रसित लोगों को अपना वजन कम करने के लिए रोज कितना, क्या और कब खाना चाहिए इसकी जानकारी देना भी डायटीशियन के कार्य में शामिल है। एक डायटीशियन के कार्य में विभिन्न वर्ग के व्यक्तियों के आहार तथा स्वास्थ्य से संबंधित मेन्यू शामिल होते हैं।
यहां से कर सकते हैं कोर्स
इंस्टीट्यूट यूनिवर्सिटी ऑफ दिल्ली, दिल्ली – www.du.ac.in
इंदिरा गांधी नेशनल ओपन यूनिवर्सिटी, मैदानगढी, दिल्ली – www.ignou.ac.in
जी.बी. पंत यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चर ऐंड टेक्नोलॉजी, पंतनगर, उत्तराखंड www.gbpuat.ac.in बुंदेलखंड यूनिवर्सिटी, झांसी, उत्तर प्रदेश- www.bujhansi.org कानपुर यूनिवर्सिटी, कानपुर, उत्तर प्रदेश- www.kanpuruniversity.org
कोलकाता विश्वविद्यालय, कोलकाता- www.caluniv.ac.in
यहां मिलेंगी नौकरियां
आजकल लोगों की लाइफस्टाइल देखते हुए एक चीज तो साफ है कि जॉब के लिहाज से न्यूट्रीशन एक उभरता हुआ क्षेत्र है, जहां पर जॉब लगने की पूरी संभावनाएं है। यदि आप भी डायटीशियन के क्षेत्र से जुड़ने की सोच रहे हैं तो आप हॉस्पिटल्स, हेल्थ, कैंटीन, नर्सिंग केयर, कॉलेज और यूनिवर्सिटी में टीचर के रूप में काम कर सकते हैं। इसके अलावा, आप केटरिंग डिपार्टमेंट, फाइव स्टार होटल, फूड मैन्युफैक्चरिंग रिसर्च लैब, चाइल्ड हेल्थ केयर सेंटर, एयरलाइंस, ब्यूटी क्लीनिक, फिटनेस सेंटर और गवर्नमेंट हेल्थ डिपार्टमेंट में भी कार्य कर सकते हैं। यदि आप चाहे तो कंसल्टेंट के रूप में भी करियर की शुरुआत कर सकते हैं।
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