Thyroid Kya Hai: थायराइड गले में स्थित एक ग्रंथि का नाम है। यह गले के आगे के हिस्से में होती है। इसका आकार तितली के जैसे होता है। यह कई तरह के मेटाबोलिक प्रोसेस को कण्ट्रोल करने के काम आता है। आजकल भागदौड़ की ज़िंदगी और खान-पान के कारण थायराइड के मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। थायराइड को साइलेंट किलर भी माना जाता है। क्योंकि इसके लक्षण बहुत देर में पता चलता है। ज्यादातर इस रोग का शिकार महिलाएं होती है।
आज के समय में थायराइड जैसी बीमारी के शिकार छोटी उम्र के बच्चे भी हो रहे है। इसकी वजह से बच्चों का शारीरिक और मानसिक विकास रुक जाता है। इसके बचाव के लिए बच्चों को नियमित रूप से व्यायाम, योग आदि की आदत डाले। अगर बच्चा बचपन से ही शारीरिक मेहनत नहीं करेगा तो बड़ा होने पर उसे थायराइड, डाइबिटीज, ओबेसिटी, बल्ड प्रेशर जैसी गंभीर बीमारियों का शिकार होना पड़ सकता है। इसलिए बच्चों को पढ़ने, टीवी देखने, मोबाइल गेम खेलने के साथ साथ शारीरिक मेहनत या खेलने के लिए प्रेरित करे।
थायराइड क्या होता है?(Thyroid Kya Hota Hai)
थायराइड किसी रोग का नाम नहीं है। बल्कि एक ग्रंथि का नाम है। जिसकी वजह से ये रोग होता है। आमतौर भाषा में लोग इसे थायराइड ही कहते है। यह ग्रंथि एडमस एप्पल के ठीक नीचे होती है। ये ग्रंथि दो प्रकार के हार्मोन बनाती है एक टी3 जिसे ट्राई-आयोडो-थायरोनिन कहते है और दूसरी टी4 जिसे थायरॉक्सिन कहते है। इससे निकलने वाले दोनों हार्मोन असंतुलित हो जाते है तो थायराइड की समस्या हो जाती है।
थायराइड के प्रकार(Types Of Thyroid In Hindi)
थायराइड दो प्रकार की होती है।
- एक हाइपरथायरायडिज्म – इसमें जरूरत से ज्यादा हार्मोन बन जाते है तो इससे हार्मोन असंतुलित हो जाते है।
- दूसरा हाइपोथायरायडिज्म – इसमें जरूरत से कम हार्मोन बन पाते है तो हार्मोन असंतुलित हो जाते है।
थायराइड की समस्याएं क्या होती है?(Thyroid Bimari Kya Hai)
इस ग्रंथि से पैदा होने वाले हार्मोन शरीर में होने वाले सभी मेटाबोलिक प्रक्रियाओं को एफेक्ट करता है। थाइराइड से घेंघा जैसी छोटी बीमारी से लेकर कैंसर तक हो सकता है।
थाइराइड के लक्षण (Thyroid Ke Lakshan Kya Hai)
अक्सर इस बीमारी के लक्षण साफ नहीं होते और अन्य दूसरी बीमारियों से मिलते जुलते होते है।
- चिंता, घबराहट और चिड़चिड़ापन
- भूख बढ़ने के बावजूद वजन का कम होना
- हाथों का कांपना
- पसीना आना
- त्वचा का पतला होना
- दस्त लगना
- सोने में दिक्कत होना
- दोहरी दृष्टि की समस्या होना
- आँखों का बाहर निकलना
- बालों की समस्या जैसे की टूटना, पतला होना और झड़ना
- दिल की धड़कन का सामान्य न होना, खासतौर से वृद्ध लोगों में
- Menstrual cycle में बदलाव होना, periods की frequency कम होना
- मांसपेशियों में कमजोरी, विशेष रूप से जांघों और ऊपरी बाहों में
थायराइड का इलाज(Thyroid Ka Ilaj)
सबसे पहले जब आप अपने शरीर की जांच करवाते है तो डॉक्टर इसके लक्षणों द्वारा इसकी पहचान करता है। अगर डॉक्टर को थायराइड की सम्भावना लगती है तो इसके बाद वो टी3, टी4 और टीएसएच हार्मोन की जांच करता है। इसके अलावा अल्ट्रासाउंड और एंटी थायराइड टेस्ट से भी इसका पता लगाया जा सकता है। इसका इलाज आपकी उम्र, सेहत आदि देख कर किया जाता है। थायराइड का इलाज एंटी थायराइड दवाई, सर्जरी आदि से किया जाता है।
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